🏵 घनाक्षरी छंद 🏵 (1) राजनीति में भरें हैं, अपराधी लोग कुछ, जेल भेजकर उन्हें, सजा दिलवाइए। लिप्त होके घोटालों में, देश को ये लूट रहे, इनकें ठिकानों में भी, छापे पड़वाइए। धज्जियाँ ...
★ कुकुभ छंद ★ पइसा वाला मनके चलथें, ये दुनिया मा अब भाई। दीनहीन के कोन सुनइया, जिनगी उनकर दुखदाई।। कोट कछेरी जावत रहिथे, फरियादी घेरीबेरी। न्याय मिलय नइ कभू समय मा, होथे काबर ...